दुर्लभ औषधि का पौधा, बंदर और मुखिया की भूल

गाँव के पास एक प्राचीन मंदिर था जिसके बगीचे में एक अनोखा पौधा उगा था। लोग कहते थे कि वह पौधा कोई साधारण पौधा नहीं था, वह जड़ी-बूटी नहीं बल्कि चमत्कारी शक्ति से भरा था। लेकिन इस बात को जानने वाला कोई नहीं था क्योंकि गाँव वालों को उसकी पहचान ही नहीं थी।

रवि, जो कि एक युवा वैज्ञानिक था, गाँव आया और उस पौधे को देखकर चौंक गया। उसने सोचा "अरे! यह तो बहुत ही दुर्लभ हर्ब है जिसका प्रयोग आयुर्वेदिक चिकित्सा में किया जाता है!"